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झामुमो - कांग्रेस का भाजपा - आजसू पर तंज, बोलें - केला अब अकेला, हार से भाजपा सदमे में

  • Writer: Jay Kumar
    Jay Kumar
  • Nov 26, 2024
  • 2 min read

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TVT NEWS DESK


रांची ( RANCHI ) : झामुमो और कांग्रेस ने भाजपा और आजसू पर तंज कसा है. झामुमो के महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने आजसू को आड़े हाथों लिया तो कांग्रेस प्रवक्ता सोनल शांति ने भाजपा पर पलटवार किया. झामुमो प्रवक्ता ने कहा कि आजसू सुप्रीमो अब खुद बेरोजगार हो गए हैं. केला अब अकेला रह गया है. सुदेश महतो झारखंड में रोजगार देने वाली सरकार बनाने की बात कर रहे थे. अब मांडू के विधायक ने उन्हें रोजगार का ऑफर दिया है, जो स्वागत योग्य है. सुप्रियो मंगलवार को पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे. बताते चलें कि आजसू ने 10 सीटों पर चुनाव लड़ा था, जिसमें एक सीट ही आजसू बचा पाई.

सुप्रियो भट्टाचार्य ने भी कहा कि सुदेश महतो ने गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी को तवज्जो नहीं दी. उन्हें लगातार हाशिए पर रखा गया. चंद्रप्रकाश को मोदी सरकार में मंत्री बनाया जाना चाहिए. उन्हें आगे बढ़कर आजसू की कमान संभालनी चाहिए.


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भाजपा हार से सदमे है - कांग्रेस


भाजपा प्रदेश के कार्यकारी अध्यक्ष रविंद्र राय के बयान पर कांग्रस प्रदेश प्रवक्ता सोनल शांति ने पलटवार करते हुए कहा कि भाजपा के नेता अभी तक सदमे से बाहर नहीं आए हैं. जनता द्वारा नकारे जाने के बाद अपने हार के कारणो को ढूंढने की बजाय महागठबंधन के कार्यकर्ताओं को उन्मादी बता रहे हैं.

भाजपा के कार्यकारी अध्यक्ष रविंद्र राय द्वारा महागठबंधन के कार्यकर्ताओं को जामताड़ा बरहेट,पाकुड़, राजमहल बहरागोड़ा आदि क्षेत्रों में अभद्रता का दोषी ठहराये जाने पर जवाब देते हुए प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता सोनाल शांति ने कहा कि पूरे देश में उन्माद का वातावरण बनाने वाली भाजपा आरएसएस को हर व्यक्ति उन्मादी नजर आता है, हकीकत यह है कि भाजपा समाज में विषाक्त वातावरण बनाने के लिए माहौल और मौके की तलाश में रहती है. आला कमान के सामने अपने नेतृत्व में हुई हार का रुख मोड़ने के लिए श्री बाबूलाल मरांडी बरहेट का दौरा कर रहे हैं और भाजपा की असफलता को दबाना चाहते हैं.

उन्होंने कहा कि रविंद्र राय जी कहते हैं कि जहां अल्पसंख्यक समुदाय की संख्या अधिक होती है वहां अत्याचार होते हैं और दूसरी और कहते हैं कि बरहेट में भाजपा की अल्पसंख्यक समर्थकों पर हमले हुए,ऐसी दोहरी बातें भाजपा के नेता ही कर सकते हैं जिनके सामने कोई मुद्दे ही नहीं बचे। पूरे चुनाव में झारखंड में धर्म का धंधा चलाने की कोशिश करने वाली भाजपा की दुकान जनता ने बंद कर दी है लेकिन उन्हें यह नहीं दिख रहा है। भाजपा के घमंड का जवाब झारखंडियों ने दे दिया है। भाजपा नकारात्मक राजनीति को छोड़कर झारखंड के विकास के लिए सकारात्मक विचार रखते हुए कार्य करे। सांप्रदायिक राजनीति करने वाले लोग आज हम पर सांप्रदायिकता का आरोप लगा रहे हैं,जबकि भाजपा की पूरी राजनीति की धुरी का आधार यही है,इस मानसिकता के बिना भाजपा अपना एक कदम भी आगे नहीं बढ़ा सकती। भाजपा नेताओं को सलाह है कि बदहवासी के आलम से बाहर निकाल कर हकीकत का सामना करें.

महागठबंधन ने हमेशा से सामाजिक एकता को बनाए रखने में अपनी भूमिका अदा की है. इसी सोच के साथ हमने 5 वर्षों तक जनता की सेवा की, जिसका फलाफल हमें जनता ने दोबारा सत्ता मे लाकर दे दिया है. इस हकीकत से बचने की कोशिश भाजपा के नेता ना करें. आरोप प्रत्यारोप के दौर से निकलकर विकासवादी सोच को अपनाये.


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